
[11:45, 2/22/2021] Editor Raipur Zone Akanksha Tiwari:राजस्थान बीजेपी में कलह।
राजस्थान की पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के समर्थक विधायकों ने अब भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया और नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया के खिलाफ खुलकर आवाज़ उठाना शुरू कर दिया है। इन विधायकों ने आरोप लगाया है कि उन्हें विधानसभा में बोलने का मौक़ा नहीं दिया जाता और उनके साथ लगातार भेदभाव हो रहा है। पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और भाजपा के वरिष्ठ नेता कैलाश मेघवाल भी उन लोगों में शामिल हैं जिन्होंने इस उपेक्षा के खिलाफ आवाज़ बुलंद की है।
कैलाश मेघवाल ने बताया कि कुछ विधायकों की भावना थी कि उन्हें विधानसभा की कार्यवाही में हिस्सा लेने नहीं दिया जा रहा।इसी की तरफ प्रदेशाध्यक्ष का ध्यान लाने के लिए एक चिट्ठी लिखी गयी थी जिसे मेरा भी समर्थन है। मेघवाल ने कहा, विधायक ऐसा महसूस कर रहे हैं कि विधानसभा की कार्यवाही में उन्हें जो महत्व मिलना चाहिए था वह नहीं मिल रहा है. ये सब ख़त्म होना चाहिए।सबको विधानसभा की कार्यवाही में समान अवसर देना चाहिए। लीडर विपक्ष के नेता को इस बात का ध्यान रखना चाहिए। बता दें कि कैलाश मेघवाल समेत 20 वसुंधरा राजे समर्थकों ने भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष, प्रदेशाध्यक्ष,नेता प्रतिपक्ष और वसुंधरा राजे को चिट्ठी लिखकर ये मुद्दा जोर-शोर से उठाया है।
इस चिट्ठी के बार राजस्थान में बीजेपी विधायक दो गुटों में बंटे नज़र आ रहे हैं। बीजेपी की रणनीति थी कि बजट सत्र में गहलोत सरकार को घेरा जाए लेकिन अब पार्टी खुद ही विभाजित नज़र आ रही है।विधायकों की ये शिकायत अब दिल्ली तक भी पहुंच गयी है।कैलाश मेघवाल ने खुलकर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया पर ही भेदभाव का आरोप लगाया है।इससे पहले कई बीजेपी विधायक लगातार वसुंधरा को फिर से सीएम कैंडिडेट घोषित करने की मांग कर रहे हैं।

वसुंधरा राजे 8 मार्च को अपने जन्मदिन पर भरतपुर जिले से धार्मिक यात्रा कर रही हैं, इस धार्मिक यात्रा को भी शक्ति प्रदर्शन माना जा रहा है, इसकी तैयारियां शुरू हो गई हैं।